गिरिडीह: भाजपा प्रदेश कार्यसमिति के सदस्य सुरेश साव ने रविवार को शास्त्रीनगर में प्रेस वार्ता की और राज्य की हेमंत सरकार पर जमकर निशाना साधा। इन्होंने विधायक सुदिव्य सोनू पर भी हमला बोला।
सुरेश साव ने कहा कि जब से राज्य में हेमंत की सरकार आई है. हजारों निर्दोष भाजपा कार्यकर्ताओं एवं नेताओं के साथ मारपीट और झूठे मुक़दमे में फंसाया गया है और कई बार तो राज्य की पुलिस मूकदर्शक बनी रही है. राज्य की प्रशासन कठपुतली बनकर जनता की सेवा छोड़ अन्यान्य कार्य कर रही है।
कहा कि अभी पिछले दिनों नवरात्रा में नवमी के दिन गिरिडीह के तेलोडीह में जो घटना हुई है उस घटना में यहाँ के स्थानीय विधायक के इशारे पर मेरा नाम घसीटने का प्रयास किया गया है जो निराधार है एवं पूर्वाग्रह से ग्रसित है. गिरिडीह की जनता जानती है कि तेलोडीह प्रकरण से मेरा कोई सरोकार नहीं है. यह घटना जिस दिन हुई उस दिन मैं अपने निजी आवास पर हवन-पूजन कर रहा था. हवन कार्य संपन्न होने के बाद गिरिडीह के वृद्धा आश्रम में वृद्ध एवं असहाय लोगों के बीच वस्त्र वितरण कर खाना खिलाया. इसके पश्चात अपने एक मित्र के घर से खाना खाकर शाम में लौट रहा था तभी मुझे इस घटना की सुचना प्राप्त हुई. सुचना मिलने के बाद स्थानीय लोगों से संपर्क किया. एक सामाजिक कार्यकर्त्ता होने के नाते, मामला को समझने के लिए भाजपा कार्यकर्त्ता राजेश जयसवाल, नागेश्वर दास जी के साथ पचंबा थाना पहुंचा उसके बाद बार एसोसिएशन के सचिव सह भाजपा नेता चुन्नू कान्त भी थाना पहुँचे. उसके बाद हमदोनो ने डीएसपी , अनिल सिंह से बात किया और आग्रह किया कि कोई दोषी बचे नहीं और कोई निर्दोष फंसे भी नहीं. बातचीत के दौरान श्री सिंह जी ने हमलोगों को आश्वासन देते हुआ कहा कि आप निश्चिन्त रहे किसी भी निर्दोष पर कोई कार्रवाई नहीं होगी.
सुरेश साव ने कहा कि जगजाहिर है कि जब से गिरिडीह के विधायक ने अपना कार्यभार संभाला है गिरिडीह की जनता अमन-चैन से नहीं रह पाई है. आए दिन दो समुदायों के बीच विवाद होता रहा है. गिरिडीह में लूट-खसोट मचा हुआ है, चाहे मामला जमीन का हो या सरकारी संपत्ति का. सरकारी खजाने तक को लुटवा दिया गया है. इन्हीं मुद्दों एवं इनके काले कारनामों को मैं लगातार जनता के बीच रखता रहा हूँ. इसी पूर्वाग्रह से ग्रसित होकर द्वेष की भावना से मेरे ऊपर जबरन फर्जी मुकदमा दर्ज करवाया गया है. यदि विधायक जी ऐसा समझते हैं कि ऐसे फर्जी मुक़दमे से गिरिडीह की बहुसंख्यक जनता की आवाज़ को कुचल देंगे तो यह उनकी भूल है. ऐसी ओछी हरकतों से जनता के बीच जनाक्रोश है। राजनितिक प्रतिद्वंदता के कारण सदर विधायक के द्वारा ऐसा कुत्सित प्रयास लगातार किया जा रहा है जिससे जनाक्रोश बढ़ा है परन्तु मैं प्रशासन से आग्रह करना चाहता हूँ कि व्यक्ति विशेष के दबाव में आकर ऐसी बनावटी घटनाओं में निर्दोष जनता एवं आम सामाजिक कार्यकर्त्ता को शिकार बनाना बंद करे. सत्ता परिवर्तनशील है इस बात का ध्यान रखा जाए एवं उक्त प्रकरण की जाँच निष्पक्षता और कर्तव्यनिष्ठा से करें. स्थानीय विधायक के दबाव में आकर कोई ऐसा कार्य ना करें जिससे जनता का विश्वास पुलिस प्रशासन पर से उठ जाए अथवा पुलिस प्रशासन की छवि धूमिल हो और जनता के बीच आक्रोश फैले. मैं तो यहाँ तक कहता हूँ कि सीसीटीवी फुटेज के माध्यम से जांच कर मामले को सार्वजनिक करें जिससे जनता के बीच जो आक्रोश का माहौल पनप रहा है वो कम हो सके और प्रशासन के प्रति जनता का विश्वास सशक्त हो सके.
प्रेस वार्ता में सुनील पासवान, नवीन सिन्हा, मनोज मौर्या, राजेश जयसवाल, मनोज संघई, श्रीकांत शर्मा, रविन्द्र मंडल, सुनील रजक समेत कई भाजपा नेता उपस्थित थे।